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दिल्ली में प्रदर्शन को रवाना हुए हो भाषायी आंदोलनकारी,21 अगस्त को दिल्ली के जंतर-मंतर पर देंगे एकदिवसीय धरना……. हो भाषा को संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल किये जाने की रखेंगे मांग

 

न्यूज़ लहर संवाददाता

झारखंड: पश्चिम सिंहभूम जिला चाईबासा से हो भाषा को संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल किये जाने की मांग को लेकर दिल्ली में 21 अगस्त को आदिवासी हो समाज युवा महासभा द्वारा धरना प्रदर्शन आयोजित किया गया है। इसमें शामिल होने के लिये पश्चिमी सिंहभूम के भाषायी आंदोलनकारियों का एक दल शनिवार को टाटानगर रेलवे स्टेशन से दिल्ली रवाना हुआ।

अन्य आंदोलनकारी भी अपनी सुविधानुसार समूह बनाकर अलग-अलग रेलवे स्टेशनों से दिल्ली रवाना हुए। वहीं कुछ लोग हवाई जहाज से भी दिल्ली पहुंच रहे हैं।महासभा के पदाधिकारी महर्षि महेंद्र सिंकू ने बताया कि टाटानगर रेलवे स्टेशन से जो दल रवाना हुआ उसमें करीब 250 आंदोलनकारी शामिल हैं जो विभिन्न इलाकों से आते हैं। यह दल सुबह करीब सात बजे पुरी-नई दिल्ली पुरुषोत्तम एक्सप्रेस से रवाना हुआ। रवाना होनेवालों में सांसद प्रतिनिधि विश्वनाथ तामसोय, गणेश बारी, महर्षि महेंद्र सिंकू, धर्म सचिव सोमा जेराई, राहुल पुरती, प्रकाश पुरती, सांस्कृतिक सचिव सतीश सामड, शंकर चातोंबा, कोषाध्यक्ष शंकर सिद्धू, फूलमती सिरका, संगीता सामड, डेविड सिंह बानरा, कुशल लागुरी, सोमा कोड़ा, शंकर चातोंबा, सिरका बानरा समेत अन्य शामिल हैं। आंदोलनकारी 20 अगस्त को दिल्ली पहुंचेंगे और 21 अगस्त को दिल्ली पार्लियामेंट स्ट्रीट जंतर-मंतर पर आयोजित एकदिवसीय धरने में शामिल होंगे। इस दौरान राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री तथा गृहमंत्री को मांग-पत्र समर्पित किया जायेगा। महासभा की ओर से दावा किया गया है कि दिल्ली जाने के लिये 1200 प्रदर्शनकारियों ने ट्रेन टिकट बुक करवायी है। दिल्ली में प्रदर्शनकारियों के ठहरने तथा भोजन की व्यवस्था भी की गयी है। महासभा के मुताबिक यह जिम्मेदारी सांसद गीता कोड़ा ने उठायी है। इस धरने में असम के हो समुदाय के लोग भी हिस्सा ले रहे हैं।

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