Law / Legal

लालू यादव के खिलाफ CBI को केस चलाने की मंजूरी, नौकरी के बदले जमीन का है मामला

 

नई दिल्ली: केंद्रीय गृह मंत्रालय ने CBI को राष्ट्रीय जनता दल के अध्यक्ष लालू यादव के खिलाफ केस चलाने की अनुमति दे दी है। सीबीआई ने दिल्ली की राऊज एवेन्यू कोर्ट को सूचित किया कि पूर्व केंद्रीय रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव के खिलाफ कथित जमीन के बदले नौकरी घोटाला मामले में एक ताजा आरोप पत्र के संबंध में गृह मंत्रालय से मंजूरी प्राप्त कर ली गई है।

आरोप है कि रेल मंत्री रहते हुए लालू यादव ने पटना के 12 लोगों को ग्रुप डी में चुपके से नौकरी दी और उनसे अपने परिवार के लोगों के नाम पटना में जमीनें लिखवा लीं।

लालू यादव के खिलाफ CBI को केस चलाने की मंजूरी, नौकरी के बदले जमीन का है मामला

लालू यादव की मुसीबत बढ़ी

राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव की मुसीबत बढ़ने वाली हैं
दरअसल, नौकरी के बदले जमीन लेने वाले घोटाले में लालू यादव के खिलाफ सीबीआई जांच को मंजूरी मिल गई है। यह घोटाला उस वक्त हुआ था, जब लालू यादव रेल मंत्री थे।

सीबीआई के मुताबिक, लैंड फॉर जॉब घोटाले में लालू प्रसाद यादव के खिलाफ प्रॉसिक्यूशन सैंक्शन मिली है। पिछले साल सीबीआई ने लालू प्रसाद और उनके परिवार के खिलाफ लैंड फॉर जॉब घोटाले में एफ आई आर दर्ज की थी। आरोप था कि रेलवे मंत्री रहते हुए लालू और उनके परिवार ने रेलवे में नौकरी देने के नाम पर रिश्वत के तौर पर लोगों से जमीन ली थी। ऐसे मामले में किसी पब्लिक सर्वेंट के खिलाफ अदालत में अभियोग चलाने के लिए सरकारी जांच एजेंसी को सेंग्शन लेना जरूरी होता है जोकि सीबीआई को मिल गया है।

नौकरी के बदले जमीन लिखवाने का आरोप

आरोप है कि यूपीए-1 सरकार में लालू यादव जब रेल मंत्री तभी भ्रष्टाचार हुआ।इस मामले में सीबीआई ने 2018 में जांच शुरू की थी।मई 2021 में जांच बंद कर दी गई थी। यही मामला अब फिर खुल गया है।आरोप है कि रेल मंत्री रहते हुए लालू यादव ने पटना के 12 लोगों को ग्रुप डी में चुपके से नौकरी दी और उनसे अपने परिवार के लोगों के नाम पटना में जमीनें लिखवा लीं।सीबीआई का दावा है कि लालू यादव की पत्नी राबड़ी देवी, बेटी मीसा भारती और हेमा यादव के नाम प्लॉट्स की रजिस्ट्री कराई गई और जमीन की मामूली कीमत नकद में चुकाई गई।

आरोपियों में तेजस्वी का भी नाम

सीबीआई से जुड़े सूत्रों का कहना है कि लालू यादव के खिलाफ जिस मामले में जांच शुरू की गई है, उसमें उनके अलावा, उनके बेटे और बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव और बेटियां चंदा यादव और रागिनी यादव भी आरोपी हैं।अधिकारियों ने कहा, “जो मामला पहले था, उसी की जांच हो रही है और कोई मामला नहीं बनाया गया है।”

चारा घोटाले में हो चुकी है सजा

लालू का नाम चारा घोटाले में बतौर मुख्‍य आरोपी रहा है।इस मामले में उन्‍हें सजा भी हो चुकी है और वह लंबे समय तक जेल में भी रह चुके हैं।वह अभी भी जमानत पर बाहर हैं। सीबीआई ने इस घोटाले को लेकर कुल 66 मामले दर्ज कराए थे।इनमें से 6 में बिहार के तत्कालीन मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव को भी अभियुक्त बनाया गया था।लालू प्रसाद यादव पशुपालन घोटाले के मामलों में अब तक तकरीबन सात बार जेल जा चुके हैं।

दिसंबर में हुआ था किडनी ट्रांसप्लांट

05 दिसंबर 2022 को लालू यादव की किडनी का सिंगापुर में सफल ट्रांसप्लांट हुआ था।उनकी बेटी रोहिणी आचार्य ने उन्हें अपनी किडनी दी है। किडनी ट्रांसप्लांट के बाद उनकी सेहत में सुधार बताया जा रहा है।वह अभी भी डॉक्टरों की निगरानी में हैं। लेकिन इंडिया गठबंधन की राजनीति में सक्रिय है। उन्होंने हाल के दिनों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को आंखें दिखाई थी और दावा किया था कि आने वाले दिनों में मोदी सरकार का सफाया हो जाएगा।

Related Posts