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डायलिसिस मशीन खराब होने से मरीजो की आफत में जान, 10 दिनो से सदर अस्पताल में डायलिसिस सेवा है बंद

न्यूज़ लहर संवाददाता
झारखंड ।चतरा सदर अस्पताल की डायलिसिस मशीन पिछले दस दिनो से खराब है। जिस वजह से किडनी रोग से ग्रसित मरीजो की जान आफत में पड़ गई है। प्रतिदिन दर्जनभर मरीज डायलिसिस के लिए सदर अस्पताल का चक्कर लगा रहे है। परंतु उन्हे सिर्फ निराशा हाथ लग रही है। अगर जल्द ही मशीन को दुरूस्त नही किया गया, तो किडनी रोग से ग्रसित मरीजो की मृत्यु कभी भी हो सकती है। यहां किडनी रोग से कई मरीज ऐसे है, जिनके स्वजनो का आर्थिक स्थिति ठीक-ठाक नही है। चूंकि चतरा अति पिछड़ा जिला है। कुल आबादी के तीन तिहाई लोग गरीबी रेखा के नीचे आते है।

पैसे के अभाव में वे दूसरे जगह जाकर डायलिसिस नही करा सकते। स्वास्थ्य अधिकारियो ने बताया कि मशीन का गियर हेड खराब हो गया है। यह महंगी और मुश्किल से मिलती है। जिस वजह से अबतक मशीन को दुरूस्त नही किया गया है। सदर अस्पताल में पीपीपी मोड में चल रहे इस केंद्र में सामान्य मरीजों का 1206 रुपये चुकाने पड़ते है।

जबकि बीपीएल परिवार व आयुष्मान कार्डधारी परिवार के मरीजों को निशुल्क डायलिसिस की सुविधा उपलब्ध है। सदर अस्पताल स्थित डायलिसिस केंद्र के अलावा किसी भी सरकारी या निजी अस्पताल में डायलिसिस की सुविधा नहीं है। ऐसे में अगर सदर अस्पताल में डायलिसिस सेवा बंद होती है, तो मरीजो को हजारीबाग समेत अन्य जिला जाकर डायलिसिस कराना पड़ता है। तकनीशियन प्रेम कुमार ने बताया कि मशीन का गियर हेड व एक अन्य उपकरण खराब हो गया है।

बताया कि उपकरण के लगने के पश्चात ही मशीन चालू हो सकेगा। यहां बता दें कि किडनी से संबंधित रोगियों का डायलिसिस होता है। रोजाना छह से सात मरीज डायलिसिस के लिए सदर अस्पताल पहुंचते है। फिलहाल इन मरीजो की जान आफत में आ गई है।

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