बजट 2025: मोबाइल, इलेक्ट्रिक व्हीकल और दवाइयां सस्ती, प्रोसेस्ड फूड और डिस्प्ले पैनल महंगे
न्यूज़ लहर संवाददाता
नई दिल्ली:वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2025-26 का बजट पेश किया, जिसमें कई वस्तुओं के दामों में बदलाव किया गया है। कुछ चीजें सस्ती हुई हैं, जबकि कुछ के कीमतों में बढ़ोतरी हुई है। सरकार ने घरेलू उत्पादन और स्वास्थ्य क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए कई कर छूट दी हैं, वहीं प्रोसेस्ड फूड और इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों पर टैक्स बढ़ाया गया है। आइए जानते हैं बजट 2025 में कौन-कौन सी चीजें महंगी और सस्ती हुई हैं।
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बजट 2025 में सस्ती हुई चीजें
1. मोबाइल फोन – घरेलू उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए मोबाइल फोन के दाम घटाए गए।
2. कैंसर की दवाइयां – मरीजों को राहत देने के लिए इनकी कीमतों में कटौती।
3. मेडिकल उपकरण – स्वास्थ्य क्षेत्र में सुधार के लिए मेडिकल इक्विपमेंट्स सस्ते किए गए।
4. एलसीडी और एलईडी टीवी – घरेलू मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देने के लिए कीमतें घटीं।
5. छह जीवनरक्षक दवाइयां – गंभीर बीमारियों की दवाइयां सस्ती की गईं।
6. भारत में बने कपड़े – मेक इन इंडिया के तहत भारत में बने कपड़ों को सस्ता किया गया।
7. इलेक्ट्रिक व्हीकल (EV) – ईवी बैटरियों और वाहनों पर टैक्स में छूट, जिससे इलेक्ट्रिक कारें होंगी सस्ती।
8. चमड़ा और इससे बने उत्पाद – जूते, बैग और अन्य चमड़े के उत्पादों की कीमत घटी।
9. फ्रोजन फिश, मोटरसाइकिल, जिंक स्क्रैप, कोबाल्ट पाउडर – इन वस्तुओं पर टैक्स कम किया गया।
10. जहाज निर्माण के लिए कच्चा माल – बेसिक कस्टम ड्यूटी से 10 साल के लिए छूट दी गई।
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बजट 2025 में महंगी हुई चीजें
1. इंटरेक्टिव फ्लैट पैनल डिस्प्ले – बेसिक कस्टम ड्यूटी 10% से बढ़ाकर 20% कर दी गई।
2. बुने हुए कपड़े (निटेड फैब्रिक्स) – कपड़ा उद्योग पर अतिरिक्त टैक्स लगाया गया।
3. अल्ट्रा प्रोसेस्ड फूड (UPF) – नमक, चीनी, फैट और आर्टिफिशियल एडिटिव्स वाले खाद्य पदार्थों पर जीएसटी बढ़ाने की चर्चा।
4. खाद्य सुरक्षा मानकों को सख्त किया जाएगा – FSSAI द्वारा लेबलिंग और जागरूकता अभियानों पर जोर।
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सरकार का उद्देश्य
बजट 2025 का उद्देश्य घरेलू उत्पादन, स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार, और इलेक्ट्रिक व्हीकल सेक्टर को बढ़ावा देना है। वहीं अस्वास्थ्यकर खाद्य पदार्थों पर कर बढ़ाकर स्वस्थ जीवनशैली को बढ़ावा देने की कोशिश की गई है।
बजट 2025 में किए गए ये बदलाव आम जनता, उद्योग जगत और स्वास्थ्य क्षेत्र को लंबी अवधि में लाभ पहुंचा सकते हैं।