सदन में पीएम मोदी ने कहा- शाही परिवार के अहंकार के लिए जेलखाना बना देश, उनके मुंह से संविधान शब्द शोभा नहीं देता….
न्यूज़ लहर संवाददाता
नई दिल्ली:राज्यनभा में गुरुवार को राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जोरदार जवाब दिया। इस मौके पर पीएम मोदी ने हाल ही में केंद्रीय बित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा पेश बजट का जिक्र किया। पीएम मोदी ने राज्यसभा को संबोधित कर कहा कि यह बत्तर हमारे समाज के गरीब लोगों के हित में है। इसके अलावा, उन्होंने कहा कि हमने अपने देश की सीमाओं पर बसे गांवों के प्रति अपना नजरिया बदला। पीएम मोदी ने कहा कि इस वर्ष के बजट में हमारी सरकार ने सनाज के कई छोटे-छोटे क्षेत्रां को हुआ है, जैसे चमड़ा और फुटवियर का
राबार इसमें शामिल है। इससे हमारे समाज के गरीब लोगों को लाभ होगा। उदाहरण के लिए, खिलौना उद्योग में ज्यादातर गरीबों को रोजगाः मिलता है। इससे बहुत बड़ा बदलाव आया है। पहले हम विलीने आयात करते थे, लेकिन आज हम तीन गुना खिलने निर्यात करने का स्थिति में हैं।
उन्होंने कहा कि देश भर में नई क्षेत्रों में पहले बहुत ज्यादा विकान नहीं हुआ था। दशकों तक हमारी सीमाओं पर बसे गांवों की अनदेखी हुई। हमारी सत्कार ने उनके प्रति अपना नजरिया बदला। पीएम मोदी ने कहा कि हमारो सरकार ने उन्हें पहले गांव के रूप में पहचाना और उनके त्रिकास पर विशेष ध्यान दिया। हमारे पिछले कार्यकाल के दौरान कैबिनेट मंत्रियों की इन गावो में भेजा गया और वे वहां कई दिनों तक रुकें और उनकी समस्याओं को समझें और उनका समाधान किया।
गूसीसी का जिक्र कर पीएम मोदी ने कहा कि
हम अपने संविधान निमातांओं से प्रेरणा लेकर आगे बढ़ रहे हैं। जो लोग सनान नागरिक संहिता पर सवाल उठा रहे हैं, उन्हें समझना चाहिए कि हम सिर्फ अपने संविधान निमार्ताओं के बताए रास्ते पर चल रहे हैं। कांग्रेस ने हमारे संविधान के काम और भावनाओं को नष्ट किय है।
इस मौके पर लता मंगेशकर, बलराज साहनी को याद कर पीएम नोदी ने कहा कि नाहनी जैसे प्रसिद्ध अभिनेता और कवियों को सिर्फ इसलिए जेल में डाल दिया गया क्योंकि उन्होंने कांग्रेस स रकारों का विरोध किया था। उन्होंने कहा कि लता के भाई हृदयनाथ मंगेशकर ने वीर सावरकर पर एक कविता लिखें थी और उस कविता को आकाशवाणी पर गना चाहते थे। उन्हें आकार वाणी से आजीवन प्रतिबंधित किया गया। जवाहरलाल नेहरू प्रधानमंत्री थे और मुंबई में मजदूरों की एक हड़ताल हुई थी। उसमें मशहूर गीतकार मजरूह सुल्तानपुरी ने एक गीत गागा था।
इस पर नेहरू जी ने सुल्तानपुरी को जल में ठूंस दिया था। उन्होंने कहा कि देश ने इमरजेंसी का भी दौर देख है। अभिनेता देवानंद से आग्रह किया गया कि वे इमरजेंसी का समर्थन करें, लेकिन उन्होंने साफ-साफ इकार कर दिया। इसलिए दूर-दर्शन पर देवानंद को सभी फिल्मों को प्रतिबंधित किया गया। गे संविधान की बातें करने वाले लोगों ने सालों से उस संविधान को अपनी जेब में रखा है। किशोर कुमार ने कांग्रेस के लिए गाना गाने से मना किया, इस एक गुनाह के लिए आकाशवाणी पर उनके गानों को बैन किया गया। आपातकाल में जॉर्ज फर्नांडीस सहित देश के महानुभावों को हथकड़ियां पहनाई गई थी, जंजीरं पहनाई गई थी। देश के गणमान्य लोगी की जजीरों से बाधा गया था। उनके नूंह से संविधान शब्द शोभा नहीं देता है। शाही परवार के अहंकार के लिए देश को जेलखाना बना दिया गया। जिनने निकलने के लिए चहुत लंबा संघर्ष चला।