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2012 भारत बंद मामले में 13 साल बाद बीजेपी नेताओं को मिली राहत, कोर्ट ने किया बरी

 

न्यूज़ लहर संवाददाता

झारखंड:जमशेदपुर में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के भारत बंद के दौरान स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (एसबीआई) मानगो शाखा में तोड़फोड़ और सरकारी काम में बाधा डालने के मामले में 13 साल बाद न्यायालय ने सात भाजपा नेताओं को बरी कर दिया।

 

क्या था मामला?

 

2012 में भारत बंद के दौरान एसबीआई मानगो शाखा में तोड़फोड़ करने के आरोप में भाजपा नेताओं विकास सिंह, गुंजन यादव, राजेश सिंह, मनोज सिंह, सुनील सिंह, सूरज नारायण और टोनी सिंह के खिलाफ मामला दर्ज किया गया था। इस मुकदमे में तात्कालिक बैंक मैनेजर और मानगो थाना प्रभारी ने गवाही दी थी।

न्यायालय का फैसला

 

मामले की सुनवाई के दौरान अधिवक्ता मलकीत सिंह और मनप्रीत सिंह ने आरोपों को बेबुनियाद बताते हुए बचाव पक्ष का पक्ष रखा। गवाहों ने केवल पूर्व भाजपा नेता विकास सिंह की पहचान की, जबकि बाकी अभियुक्तों के खिलाफ कोई ठोस साक्ष्य नहीं मिला। न्यायिक दंडाधिकारी अरविंद कुमार ने सबूतों के अभाव में विकास सिंह, गुंजन यादव, सुनील सिंह, राजेश सिंह, मनोज सिंह और सूरज नारायण को बरी कर दिया।

 

हालांकि, सातवें अभियुक्त टोनी सिंह की कुछ महीने पहले हत्या हो चुकी थी, जिसके कारण उसे मामले से अलग कर दिया गया था।

 

पूर्व भाजपा नेता ने न्यायालय का जताया आभार

 

मुकदमे से बरी होने के बाद पूर्व भाजपा नेता विकास सिंह ने कहा,

“हम पर लगाया गया मुकदमा पूरी तरह बेवजह था। न्यायालय ने सच्चाई को पहचाना और हमें न्याय मिला। मैं अधिवक्ता मलकीत सिंह, मनप्रीत सिंह और न्यायालय का धन्यवाद करता हूं।”

13 साल बाद इस फैसले से भाजपा कार्यकर्ताओं में खुशी का माहौल है।

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