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आदिवासी धर्म कोड की मान्यता तक नहीं होने देंगे जातिगत जनगणना, झामुमो 9 मई को झामुमो का जिला मुख्यालयों में विरोध प्रदर्शन

न्यूज़ लहर संवाददाता
चाईबासा। पश्चिम सिंहभूम जिला झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) ने साफ कर दिया है कि जब तक केंद्र सरकार सरना/आदिवासी धर्म कोड को आधिकारिक मान्यता नहीं देती, तब तक राज्य में जातिगत जनगणना नहीं होने दी जाएगी। इस मांग को लेकर पार्टी 9 मई 2025 को सभी जिला मुख्यालयों में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन करेगी।

झामुमो के जिला प्रवक्ता बुधराम लागुरी ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा कि केंद्र सरकार लगातार आदिवासी समुदाय की उपेक्षा कर रही है। उन्होंने याद दिलाया कि झारखंड विधानसभा ने पांच साल पहले सर्वसम्मति से सरना धर्म कोड विधेयक पारित कर केंद्र को भेजा था, लेकिन अभी तक उस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है।

लागुरी ने कहा कि झामुमो इस मुद्दे को लेकर गंभीर है और सरना धर्म कोड के बिना राज्य में किसी भी जातिगत जनगणना को अनुमति नहीं दी जाएगी। 9 मई के आंदोलन में झामुमो के वरिष्ठ नेता सोनाराम देवगम, दीपक बिरुआ, जोबा माझी, सुखराम उरांव, जगत माझी, निरल पूर्ति समेत हजारों कार्यकर्ता शामिल होंगे।

पार्टी का कहना है कि यह आंदोलन सिर्फ झारखंड तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि यह देशभर के आदिवासियों की पहचान और अधिकार की लड़ाई है।

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