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उरांव समाज के महापर्व “ज्येष्ठ जतरा” पर बान टोला अखाड़ा में खेलकूद व क्विज प्रतियोगिता का भव्य आयोजन* 

 

न्यूज़ लहर संवाददाता

चाईबासा: आदिवासी उरांव समाज के ऐतिहासिक महापर्व ज्येष्ठ जतरा के पावन अवसर पर इस वर्ष भी बान टोला अखाड़ा परिसर में पारंपरिक उल्लास और उत्साह के साथ खेलकूद एवं क्विज प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। इस आयोजन में मोहल्ले के बच्चों, युवाओं, महिलाओं और बुजुर्गों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया।

समापन समारोह में उरांव समाज संघ, चाईबासा के अध्यक्ष संचू तिर्की मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे, जबकि विशिष्ट अतिथि के रूप में संघ के सचिव अनिल लकड़ा शामिल हुए। दोनों अतिथियों ने प्रतिभागियों को पुरस्कार वितरित कर उनका उत्साहवर्धन किया।

अध्यक्ष संचू तिर्की ने अपने संबोधन में कहा कि ज्येष्ठ जतरा उरांव समुदाय का एक ऐतिहासिक एवं गौरवशाली पर्व है, जिसे विजय के प्रतीक के रूप में मनाया जाता है। इस अवसर पर आयोजित प्रतियोगिताएं समाज के पारंपरिक मूल्यों और नई पीढ़ी के आत्मविकास को सुदृढ़ करने का माध्यम हैं।

प्रतियोगिता परिणाम इस प्रकार रहे:

 

5 से 7 वर्ष के बालक (दौड़ रेस):

प्रथम – प्रभात यादव, द्वितीय – अविनाश गोप, तृतीय – प्रत्युष कच्छप

 

5 से 7 वर्ष की बालिका (चम्मच रेस):

प्रथम – शशि नमाता, द्वितीय – अर्चना टोप्पो, तृतीय – रिधिका कुमारी

 

8 से 12 वर्ष के बालक (दौड़ रेस):

प्रथम – पियूष कुजूर, द्वितीय – राज नायक, तृतीय – अनमोल तिग्गा

 

8 से 12 वर्ष की बालिका (सुई-धागा रेस):

प्रथम – स्वेता कुमारी, द्वितीय – अनीशा लकड़ा, तृतीय – सोनवी लकड़ा

 

13 से 16 वर्ष के बालक (दौड़ रेस):

प्रथम – गिशान लकड़ा, द्वितीय – अंकित कुजूर, तृतीय – कार्तिक लकड़ा

 

10 से 15 वर्ष की बालिका (बोरा रेस):

प्रथम – रिया कुजूर, द्वितीय – बारिमा खलखो, तृतीय – करिश्मा तिग्गा

 

18 से 30 वर्ष की युवतियां (बॉल पास रेस):

प्रथम – मोनी कच्छप, द्वितीय – संध्या कुजूर, तृतीय – झरना कुजूर

 

महिलाएं (चियर रेस):

प्रथम – बिरसी कच्छप, द्वितीय – मंजू लकड़ा, तृतीय – लोतेम कच्छप

 

क्विज प्रतियोगिता:

कक्षा 5 से मैट्रिक तक के 10 छात्र-छात्राओं तथा इंटर से ग्रेजुएशन स्तर के 10 युवक-युवतियों को पुरस्कृत किया गया।

यह पुरस्कार पूर्व वार्ड पार्षद स्व. महादेव लकड़ा की स्मृति में उनके पुत्र उपदेश लकड़ा एवं चित्रो टोला के पूर्व मुखिया के सौजन्य से प्रदान किए गए।

 

*कार्यक्रम में विशेष रूप से उपस्थित रहे:*

 

लालू कुजूर, दुर्गा कुजूर, मंगरू टोप्पो, फागू खलखो, राजेन्द्र कच्छप, चमरू लकड़ा, सीताराम मुंडा, खुदिया कुजूर, कृष्णा मुंडा, सागर कुंकल, सुनील खलखो, बंधन खलखो, बुधराम कोया, प्रकाश कुमार गुप्ता, रवि तिर्की, रामेश्वर बोएपाई, इंद्रोदय कच्छप, अमित कुजूर, जगरनाथ टोप्पो, रोहित खलखो, लक्ष्मी कच्छप, गीता कुजूर, लक्ष्मी खलखो, पुतुल खलखो, सामिया कच्छप, नागी टोप्पो आदि।

 

कार्यक्रम का उद्देश्य न सिर्फ पारंपरिक त्योहारों को जीवित रखना था, बल्कि समाज के सभी वर्गों को एक मंच पर लाकर सांस्कृतिक एकता का संदेश भी देना था।

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