संसद रत्न से तीसरी बार नवाजे जाएंगे सांसद विद्युत वरण महतो, भाजपा जमशेदपुर महानगर अध्यक्ष सुधांशु ओझा ने जताया हर्ष, कहा- कार्यकर्ताओं और लौहनगरीवासियों के लिए हर्ष और गर्व का विषय

जमशेदपुर। जमशेदपुर संसदीय क्षेत्र से भाजपा सांसद विद्युत वरण महतो को एक बार फिर प्रतिष्ठित संसद रत्न पुरस्कार 2025 के लिए चयनित किया गया है। यह तीसरा अवसर है जब सांसद महतो को इस सम्मान से नवाजा जा रहा है। इस घोषणा के बाद जमशेदपुर के भाजपा कार्यकर्ताओं में हर्ष व्याप्त है। भाजपा जमशेदपुर महानगर अध्यक्ष सुधांशु ओझा ने इस उपलब्धि पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए सांसद विद्युत महतो को बधाई दी है। उन्होंने कहा कि सांसद विद्युत वरण महतो को संसद रत्न पुरस्कार मिलना भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ पूरे लौहनगरी के लिए गर्व की बात है। उन्होंने कहा कि सांसद विद्युत महतो ने अपने 11 वर्षों के कार्यकाल में जनहित से जुड़े मुद्दों और विकास कार्यों को प्राथमिकता देते हुए ठोस और स्थायी समाधान की दिशा में उल्लेखनीय कार्य किया है।
उनके कार्यकुशलता, सक्रिय भागीदारी, योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन और दूरदर्शी सोच के कारण उन्हें यह सम्मान मिल रहा है, जो वास्तव में जनसेवा के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को प्रमाणित करता है। सुधांशु ओझा ने विश्वास जताया कि सांसद विद्युत महतो भविष्य में भी इसी समर्पण भाव से जनता की सेवा करते रहेंगे और लौहनगरी जमशेदपुर को विकास की नई ऊँचाइयों तक पहुंचाएंगे।
*संसद रत्न पुरस्कार जमशेदपुर की जनता के समर्थन और विश्वास की जीत: प्रेम झा*
वहीं, भाजपा जमशेदपुर महानगर के मीडिया प्रभारी प्रेम झा ने भी सांसद विद्युत महतो को संसद रत्न पुरस्कार के लिए चयनित किए जाने पर हर्ष व्यक्त करते हुए कहा कि यह सम्मान एक ओर जहां सांसद विद्युत महतो के अथक परिश्रम और विकास कार्यों के प्रति उनकी प्रतिबद्धता का प्रमाण है। तो वहीं, लौहनगरीवासियों के विश्वास और समर्थन का भी सम्मान है। कहा कि संसद भवन में सक्रिय भागीदारी, सवाल पूछने, मुद्दों को उठाने और नीतिगत चर्चाओं में प्रभावशाली योगदान देने के लिए विद्युत वरण महतो लगातार सराहे जाते रहे हैं। श्री महतो को संसद रत्न जैसा प्रतिष्ठित पुरस्कार मिलना भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ जमशेदपुर संसदीय क्षेत्र के प्रत्येक नागरिक के लिए गौरव की बात है।
गौरतलब है कि संसद रत्न पुरस्कार की शुरुआत वर्ष 2010 में प्राइम पॉइंट फाउंडेशन और ई-मैगजीन ‘प्रिंसेस’ द्वारा भारत के पूर्व राष्ट्रपति डॉ. ए पी जे अब्दुल कलाम के सुझाव पर की गई थी। इस पुरस्कार का उद्देश्य संसद में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले सांसदों को प्रोत्साहित करना और उन्हें सार्वजनिक रूप से सम्मानित करना है। तब से अब तक यह पुरस्कार देश के सर्वश्रेष्ठ सांसदों को उनकी कार्यक्षमता, संसदीय भागीदारी और जनहित कार्यों के लिए प्रदान किया जाता रहा है।