झारखंड में उच्च शिक्षा और महिला सशक्तिकरण को लेकर राज्यपाल संतोष गंगवार का महत्वपूर्ण संदेश

जमशेदपुर। झारखंड के राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार ने शनिवार को बिष्टुपुर स्थित माइकल जॉन प्रेक्षागृह में सिंहभूम चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के प्लेटिनम जुबिली समारोह का शुभारंभ दीप प्रज्वलन कर किया। इस अवसर पर उन्होंने संस्था को 75 वर्षों की गौरवशाली यात्रा के लिए शुभकामनाएं दीं और झारखंड के औद्योगिक, सामाजिक और शैक्षणिक विकास में इसके योगदान की सराहना की।
राज्यपाल ने कहा कि सिंहभूम चैंबर न केवल उद्योगों का प्रतिनिधित्व करता है, बल्कि यह झारखंड के औद्योगिक इतिहास की आत्मा भी है। उन्होंने टाटा समूह की दूरदृष्टि और जमशेदपुर के सामाजिक-औद्योगिक मॉडल को उदाहरण स्वरूप प्रस्तुत करते हुए कहा कि यह शहर न केवल उद्योग, बल्कि शिक्षा, स्वास्थ्य और कौशल विकास के क्षेत्रों में भी अग्रणी रहा है।
अपने संबोधन में राज्यपाल ने झारखंड में उच्च शिक्षा की स्थिति पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि राज्य के छात्र-छात्राओं को हायर एजुकेशन के लिए अन्य राज्यों में जाना पड़ता है, जो अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने उद्योगपतियों और उद्यमियों से आह्वान किया कि वे झारखंड में रोजगारोन्मुखी उच्च शिक्षण संस्थानों की स्थापना करें, जिससे युवाओं को स्थानीय स्तर पर ही बेहतर शिक्षा और रोजगार के अवसर मिल सकें।
इसी दिन, राज्यपाल ने स्वदेशी जागरण मंच के तत्वावधान में संचालित स्वावलंबी झारखंड माइक्रो वेलफेयर डेवलपमेंट सेंटर (SJMDC) के लघु ऋण वितरण समारोह को भी संबोधित किया। उन्होंने महिला सशक्तिकरण की दिशा में संस्था द्वारा किए जा रहे प्रयासों की सराहना की और कहा कि लघु ऋण केवल आर्थिक सहायता नहीं, बल्कि आत्मबल, आत्मनिर्भरता और सामाजिक परिवर्तन का माध्यम है।
राज्यपाल ने ‘लखपति दीदी योजना’ का उल्लेख करते हुए कहा कि झारखंड की महिलाएं अब वित्तीय नेतृत्व की दिशा में आगे बढ़ रही हैं। उन्होंने चैम्बर और अन्य औद्योगिक संगठनों से आग्रह किया कि वे सामाजिक जिम्मेदारी के तहत शिक्षा, महिला सशक्तिकरण और स्थानीय युवाओं के कौशल विकास में सक्रिय भागीदारी निभाएं।
इस अवसर पर सामाजिक क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाले उद्यमियों को सम्मानित भी किया गया।