क्या होता हैँ प्रदोष? प्रदोष काल? इसका महत्व
ज्योतिष एवं वास्तु विशेषज्ञ
आनंद शर्मा
9835702489
प्रदोष का अर्थ
प्र का मतलब पूर्व या पहले
दोष का मतलब संध्या यानि संध्या काल से 2 मुहूर्त यानि
डेढ़ धंटा पहले और डेढ़ घंटा यानि कुल 3 घंटा का समय प्रदोष काल मे गिना जाता हैँ
जिस प्रकार एकादशी भगवान विष्णु जी को समर्पित हैँ उसी प्रकार त्रयोदशी तिथि भगवान शंकर जी को समर्पित हैँ
यानि 13 तिथि के शाम को प्रदोष काल कहते हैँ और इस दिन के संध्या मे भगवान शिव जी को पूजा अर्चना किया जाता हैँ हर महीने 2 त्रयोदशी तिथि पडती हैँ एक कृष्ण पक्ष और एक शुक्ल पक्ष मे, ये दोनों ही तिथि शुभ होती हैँ
कहा जाता हैँ की इस दिन इस काल मे शिव जी पार्वती जी के साथ नृत्य करते हैँ और भक्तजनों पर विशेष कृपा करते हैँ
तिथि और वार के संयोग से विशेष लाभकारी प्रदोष काल मे पूजन का फल प्राप्त होता हैँ
त्रयोदशी तिथि सोमवार दिन – मनोकामना पूर्ति
त्रयोदशी तिथि मंगलवार दिन – रोगों से मुक्ति
त्रयोदशी तिथि बुधवार दिन – व्यापार मे लाभ
त्रयोदशी तिथि गुरुवार दिन – शत्रु नाश
त्रयोदशी तिथि शुक्रवार दिन – दाम्पत्य सुख
त्रयोदशी तिथि शनिवार दिन – संतान प्राप्ति
त्रयोदशी तिथि रविवार दिन – आयु मे वृद्धि

जय भोलेनाथ .. हर हर महादेव















