मै गरीब क्यों हूं? जाने इसके ज्योतिषय कारण
आनंद शर्मा
ज्योतिषचार्य एवं वास्तु विशेषज्ञ
9835702489
जीवन भर जातक अथक मेहनत करता हैँ किंतु पैसा नहीं टिकता साथ ही हमेशा क़र्ज़ आभाव का जीवन जीता हैँ
वही कोई कोई बिना कुछ किये या अल्प परिश्रम से ही अकूत सम्पति के स्वामी होते हैँ
इसका कारण जातक की कुंडली मे छुपा होता हैँ
वैदिक ज्योतिष विद्या के जानकर ज्योतिष आनंद शर्मा के अनुसार कुण्डली मे अशुभ ग्रहो की युति और स्थिति के कारण गरीबी का योग बनता हैँ जिसे दरिद्र योग बनता हैँ
दारिद्र योग
“चन्द्रे सभानौ यदि नीचद्रष्टे,
पासांशके याति दरिद्र योगम।
क्षीणेन्दु लग्नान्निधने निशायाम,
पापेक्षिते पापयुते तथा स्यात॥”

1- यदि सूर्य-चन्द्र की युति हो और वे नीच ग्रह से देखे जाते हों !
2- यदि सूर्य-चन्द्र की युति हो और वे पाप नवांश में स्थित हों !
3 – यदि रात्रि में जन्म हो और क्षीण चन्द्र लग्न से अष्टम में स्थित हो और वह ( चन्द्रमा) पाप ग्रह से युक्त व द्रष्ट हो !
4 – चन्द्रमा राहु तथा किसी पाप ग्रह से पीड़ित हो !
5 – केन्द्र में केवल पापी ग्रह स्थित हों !
6 – चन्द्रमा से केन्द्र में केवल पापी ग्रह स्थित हों !
* उपरोक्त योगों में जन्म लेने वाला मनुष्य निर्धन अर्थात दरिद्र होता है !
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