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चुनाव के बीच सरकार ने लिया बड़ा फैसला, अब देश में महंगे नहीं होंगे प्याज

 

न्यूज़ लहर संवाददाता

नई दिल्ली : भारत में प्याज की बढ़ती कीमतें सरकार तक बदलवा देती हैं। इतिहास में ऐसी घटनाएं घट भी चुकी हैं।ऐसे में चुनाव के बीच सरकार ने प्याज के एक्सपोर्ट को लेकर एक बड़ा फैसला किया है, इनका निर्यात अब 40 प्रतिशत तक महंगा हो गया है। जबकि कुछ मामलों को छोड़कर देश में प्याज के निर्यात पर ओवरऑल बैन पहले से लगा हुआ है।

जी हां, सरकार ने देश में प्याज की पर्याप्त मात्रा उपलब्ध रहे। गर्मियों में बढ़ती डिमांड के अनुरूप सप्लाई में कमी ना आए और कीमतें भी नियंत्रित रहे।इसके लिए देश से प्याज के एक्सपोर्ट पर बैन लगा हुआ है।सिर्फ संयुक्त अरब अमीरात (यूएई), बांग्लादेश और श्रीलंका जैसे कुछ मित्र देशों को ही एक निश्चित मात्रा में प्याज निर्यात करने की छूट है।अब वित्त मंत्रालय ने एक नया नोटिफिकेशन जारी किया है, जिसके हिसाब से देश से प्याज के एक्सपोर्ट पर 40 प्रतिशत शुल्क देना होगा। ये अधिसूचना 4 मई से लागू हो चुकी है।प्याज के निर्यात पर सरकार ने पिछले साल अगस्त में भी 40 प्रतिशत की एक्सपोर्ट ड्यूटी लगाई थी, जो 31 दिसंबर 2023 तक के लिए मान्य थी।सरकार ने शुक्रवार को ही जहां एक तरफ प्याज के निर्यात पर शुल्क लगाया है।

वहीं देश में चना दाल की कमी को पूरा करने के लिए देसी चने के आयात पर शुल्क छूट देने का फैसला किया है।इंपोर्ट ड्यूटी से ये छूट 31 मार्च 2025 तक मिलेगी।वहीं 31 अक्टूबर 2024 से पहले जारी होने वाले ‘बिल ऑफ एंट्री’ के तहत विदेशों से मंगाई जाने वाली ‘पीली मटर’ पर भी सरकार कोई शुल्क नहीं लेगी।

देसी चना और पीली मटर का उपयोग देश में बेसन की आपूर्ति करने के लिए होता है।‘बिल ऑफ एंट्री’ एक कानूनी दस्तावेज होता है, जिसे इंपोर्टर्स या सीमा शुल्क निकासी एजेंट्स के इंपोर्टेड माल के लैंड होने से पहले दाखिल किया जाता है। प्याज पर निर्यात शुल्क बढ़ाए जाने के अलावा किए गए सभी अन्य बदलाव भी 4 मई से ही लागू माने जाएंगे।

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