प्रयागराज महाकुंभ: आध्यात्मिक ऊर्जा से सराबोर, 11 फरवरी को ट्रैफिक प्रतिबंध लागू
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न्यूज़ लहर संवाददाता
प्रयागराज : महाकुंभ 2025 का आयोजन अपने चरम पर है, जहाँ आस्था का महासागर धरती पर उतर आया है। यह वह दिव्य अवसर है, जहाँ श्रद्धालु आध्यात्मिक ऊर्जा से भर जाते हैं और गंगा के पवित्र प्रवाह में स्नान कर मोक्ष प्राप्ति की कामना करते हैं। कुंभ मेला न केवल धरती से देखने पर अद्भुत प्रतीत होता है, बल्कि आकाश से भी इसकी भव्यता अलौकिक नजर आती है। हर धड़कन में गंगा का प्रवाह सुनाई देता है, और हर कण में आध्यात्मिकता की अनुभूति होती है।
11 फरवरी को संपूर्ण मेला क्षेत्र में ट्रैफिक प्रतिबंध
महाकुंभ के दौरान 11 फरवरी को प्रातः 4 बजे से विशेष ट्रैफिक प्रतिबंध लागू किया जाएगा। स्थानीय प्रशासन ने निर्णय लिया है कि आवश्यक एवं आकस्मिक सेवाओं को छोड़कर संपूर्ण मेला क्षेत्र में वाहनों का आवागमन पूरी तरह से बंद रहेगा।
जो श्रद्धालु प्रयागराज नगर के बाहर से आए हैं, उन्हें अपने वाहनों को निर्धारित पार्किंग स्थलों में ही खड़ा करना होगा। यह नियम 11 फरवरी की सुबह 4 बजे के बाद प्रभावी होगा, ताकि मेला क्षेत्र में अव्यवस्था न हो और श्रद्धालुओं को स्नान और दर्शन में किसी प्रकार की परेशानी का सामना न करना पड़े।
नगर क्षेत्र में शाम 5 बजे से लागू होगा No Vehicle Zone
महाकुंभ के मुख्य स्नान दिवस को ध्यान में रखते हुए, प्रशासन ने प्रयागराज नगर एवं मेला क्षेत्र में 11 फरवरी को शाम 5 बजे के बाद से “नो व्हीकल ज़ोन” (No Vehicle Zone) लागू करने का निर्णय लिया है।
इस दौरान भी केवल आपातकालीन और आवश्यक सेवाओं से जुड़े वाहनों को ही छूट दी जाएगी। इस आदेश का उद्देश्य श्रद्धालुओं को सुरक्षित और सुविधाजनक तीर्थ यात्रा का अनुभव प्रदान करना है।
प्रशासन का आह्वान – नियमों का पालन करें
महाकुंभ आयोजन समिति और जिला प्रशासन ने श्रद्धालुओं एवं स्थानीय निवासियों से अपील की है कि वे ट्रैफिक नियमों का पालन करें और प्रशासन का सहयोग करें। मेला क्षेत्र में पैदल यात्री मार्ग को प्राथमिकता दी गई है, जिससे श्रद्धालु बिना किसी बाधा के अपने गंतव्य तक पहुंच सकें।
प्रशासन ने यह भी सुनिश्चित किया है कि पार्किंग व्यवस्था सुव्यवस्थित हो और श्रद्धालुओं को ट्रांसपोर्ट सुविधा उपलब्ध कराई जाए। कुंभ मेले के दौरान सुरक्षा को लेकर व्यापक इंतजाम किए गए हैं, और पूरे क्षेत्र में सीसीटीवी कैमरे, पुलिस बल और आपातकालीन सेवा दल तैनात रहेंगे।
महाकुंभ: आत्मा की शुद्धि और आध्यात्मिक ऊर्जा का संगम
महाकुंभ केवल एक धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि आध्यात्मिकता, संस्कृति और परंपरा का अद्भुत संगम है। गंगा के तट पर बसे इस दिव्य मेले में हर श्रद्धालु अपनी आत्मा को शुद्ध करने और आध्यात्मिक ऊर्जा प्राप्त करने के लिए आता है। इस आयोजन में हर क्षण एक नई अनुभूति देता है और हर दृश्य आस्था की शक्ति को प्रकट करता है।
प्रशासन की ओर से श्रद्धालुओं से धैर्य और अनुशासन बनाए रखने की अपील की गई है, ताकि यह महाकुंभ शांतिपूर्ण, सुव्यवस्थित और आध्यात्मिक रूप से समृद्ध बना रहे।